SaleHardback
IS DUNIYA KO SUNDER BANANE MEIN LAGA HUB
Publisher:
SETU PRAKASHAN
| Author:
MAHESH ALOK
| Language:
Hindi
| Format:
Hardback
Publisher:
SETU PRAKASHAN
Author:
MAHESH ALOK
Language:
Hindi
Format:
Hardback
₹349 ₹314
Save: 10%
In stock
Ships within:
3-5 Days
In stock
ISBN:
SKU
9789395160131
Category Hindi
Category: Hindi
Page Extent:
138
इस दुनिया को सुंदर बनाने में लगा हूँ महेश आलोक का तीसरा कविता का संग्रह है। इन कविताओं का केन्द्रीय विषय है दुख, जिसके माध्यम से उन्होंने समाज को समझने, उसकी भीतरी गतिशीलता को रेखांकित करने और परिवर्तनों की और संकेत करने का बहुत सार्थक उपक्रम किया है।
Be the first to review “IS DUNIYA KO SUNDER BANANE MEIN LAGA HUB” Cancel reply
Description
इस दुनिया को सुंदर बनाने में लगा हूँ महेश आलोक का तीसरा कविता का संग्रह है। इन कविताओं का केन्द्रीय विषय है दुख, जिसके माध्यम से उन्होंने समाज को समझने, उसकी भीतरी गतिशीलता को रेखांकित करने और परिवर्तनों की और संकेत करने का बहुत सार्थक उपक्रम किया है।
About Author
चर्चित युवा कवि एवं समीक्षक जन्म : 28 जनवरी, 1963 शिक्षा : एम.फिल., पी-एच.डी. (हिंदी), जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय, नयी दिल्ली। प्रकाशन : प्रतिष्ठित पत्र-पत्रिकाओं में नियमित रूप से प्रकाशित। चलो कुछ खेल जैसा खेलें, छाया का समुद्र (कविता-संग्रह) के अलावा आलोचना की तीन पुस्तकें प्रकाशित। केदारनाथ सिंह द्वारा संपादित कविता दशक में कविता प्रकाशित। इसके अलावा कई संग्रहों में कविताएँ और लेख। मराठी, उर्दू, अंग्रेजी, बाँग्ला (बंगाली) और पंजाबी में कुछ कविताएँ अनूदित। विभिन्न राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय संगोष्ठियों में भागीदारी एवं व्याख्यान तथा काव्यपाठ। अर्द्धवार्षिक शोध पत्रिका शोधमाला की परामर्शदात्री समिति के आजीवन सदस्य। साहित्य, संगीत और कला की अंतरराष्ट्रीय संस्था शब्दम् की सलाहकार समिति के सदस्य। सम्मान : उ.प्र. हिंदी संस्थान, लखनऊ का विश्वविद्यालयी साहित्यकार सम्मान, शब्दम् द्वारा सर्वश्रेष्ठ शिक्षक सम्मान। संप्रति : एसोसिएट प्रोफेसर एवं अध्यक्ष (हिंदी विभाग), नारायण पी.जी. कॉलेज, शिकोहाबाद।
Reviews
There are no reviews yet.
Be the first to review “IS DUNIYA KO SUNDER BANANE MEIN LAGA HUB” Cancel reply
[wt-related-products product_id="test001"]
Related products
RELATED PRODUCTS
Ganeshshankar Vidyarthi – Volume 1 & 2
Save: 30%
Horaratnam of Srimanmishra Balbhadra (Vol. 1): Hindi Vyakhya
Save: 10%
Horaratnam of Srimanmishra Balbhadra (Vol. 1): Hindi Vyakhya
Save: 10%
Purn Safalta ka Lupt Gyan Bhag-1 | Dr.Virindavan Chandra Das
Save: 20%
Sacred Books of the East (50 Vols.)
Save: 10%
Reviews
There are no reviews yet.